
राजभाषा के लिए समर्पित पत्रिका का समीक्षित अंक पाठकों के दैनिक जीवन के लिए उपयोगी सामग्री से परिपूर्ण है। अंक में समाचारों को प्रमुखता से प्रकाशित किया गया है। इनमें -एक से तीन भाषा फार्मला अच्छा है। हिंदी राष्ट्रीय चेतना की भाषा, अंतराष्ट्रीय भाषा है भोजपुरी आदि जानकारीप्रद हैं। आॅफिस में बास हो जब वूमन, कम्प्यूटर की दुनिया में नई क्रांति, पैसे को कैसे करें मेनेज, बाबा नागार्जुन, माखनलाल चतुवेर्दी, व्यंग्य नालायक होने का सुख(शास्त्री नित्यगोपाल कटारे) अच्छी रचनाएं हैं। एक समाजउपयोगी विविधआयामी पत्रिका का स्वागत किया जाना चाहिए।
एक टिप्पणी भेजें